कोटा । नगर निगम के अतिक्रमण निरोधक दस्ते ने शहर के सबसे व्यस्त मार्ग व बाजार स्टेशन क्षेत्र से अतिक्रमण हटाने की शुरुआत कर दी है। साथ ही मेन रोड पर सफेद लाइनिंग कर वाहनों को व्यवस्थित खड़ा करना शुरू कर दिया है। जिससे सड़क चौड़ी दिखने लगी है। शहर में वैसे तो सभी जगह पर अतिक्रमण हो रहे है। अतिक्रमणों से सड़कें सिकुड़ती जा रही हैं और ट्रैफिक में भी बाधा उत्पन्न हो रही है। वहीं अतिक्रमण की सबसे अधिक समस्या रेलवे स्टेशन क्षेत्र में है। यहां रेलवे स्टेशन से बाहर निकलने के बाद से बजरिया, राम मंदिर रोड और भीमगंजमंडी थाने के सामने तक सड़क के दोनों तरफ इतना अधिक अतिक्रमण हो रहा है कि वहां से शाम के समय वाहनों का निकलना मुश्किल हो जाता है। खास तौर पर ट्रेन के समय में जब आॅटो व अन्य वाहन एक साथ सवारी लेकर निकलते हैं तो ट्रैफिक जाम के हालात बन जाते है। इसका कारण बाजार के दुकानदारों द्वारा अपनी दुकानों का सामान फुटपाथ से भी आगे सड़क सीमा में फेलाकर रखा हुआ है। उसके आगे दुकानदार व ग्राहकों के वाहन खड़े हो रहे है। साथ ही सड़क के दोनों तरफ फल व फास्ट फूड के ठेले और उन पर ग्राहकों की भीड़ व बैठक व्यवस्था से ट्रैफिक रैंग-रैग़ कर निकलता है। लेकिन अब नगर निगम के अतिक्रमण निरोधक दस्ते ने इस व्यवस्था में सुधार करना शुरू कर दिया है। नगर निगम कोटा उत्तर के अतिक्रमण निरोधक दस्ते के प्रभारी और पुलिस उप अधीक्षक तरूण कांत सोमानी ने बताया कि उन्होंने निगम में आने के बाद शहर के उन अतिक्रमणों को चिन्हित किया जहां ट्रैफिक सबसे अधिक प्रभावित हो रहा है। उसमें स्टेशन क्षेत्र को सबसे पहले लिया गया है। उप अधीषक सोमानी ने बताया कि स्टेशन क्षेत्र में बजरिया से लेकव भीमगंजमंडी थाने के सामने तक दोनों तरफ के अतिक्रमण हटाए जा रहे है। साथ ही हाथों-हाथ सफेद लाइनिंग भी की जा रही है। जिससे वाहनों को उन लाइनों के भीतर ही खड़ा करने के लिए पाबंद किया जा रहा है। लाइन से बाहर वाहन खड़े होने पर संबंधित के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
ठेला निषेध क्षेत्र करवाएंगे घोषित
सोमानी ने बताया कि वे स्टेशन को ठेला निषेध क्षेत्र घोषित करवाएंगे। जिससे उस क्षेत्र में सड़क पर ठेले ख़ड़े ही नहीं हो सकें। इसके लिए अलग से वेंडिंग जोन बनाकर ठेले वालों को वहां शिफ्ट करने की योजना है। इस संबंध में आयुक्त से चर्चा कर आगे की कार्यवाही की जाएगी।
लगातार मॉनिटरिंग की जा रही
उप अधीक्षक सोमानी ने बताया कि अतिक्रमण हटाने के बाद फिर से अतिक्रमण हो जाते है। जिससे निगम की मेहनत पर पानी फिर जाता है। ऐसे में अब निगम का जाब्ता लगाकर जहां से अतिक्रमण हटाए गए वहां नियमित मॉनिटरिंग की जा रही है। जिससे वहां दोबारा से अतिक्रमण नहीं हों।
नवज्योति ने उठाया था मुद्दा
शहर में अतिक्रमण हटाने के बाद भी बार-बार फिर से उसी जगह पर अतिक्रमण होने का मुद्दा दैनिक नवज्योति ने प्रमुखता से उठाया था। समाचार पत्र में17 नवम्बर को पेज 4 पर छुपन छुपाई का खेल बना सड़कों से अतिक्रमण हटाना। शीर्षक से समाचार प्रकाशित किया था। उसमें ठेले वालों की समस्या से लेकर अतिक्रमण से ट्रैफिक में हो रही बाधा तक का जिक्र किया था।